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Month: July 2020

नयी शिक्षा नीति: किसकी आँख में धूल झोंक रहे हो मोदी जी?

 प्रेम कुमार मणि “यह शिक्षा नीति मेरी समझ से उलझावकारी है. नई सदी की सामाजिक-आर्थिक और सांस्कृतिक चुनौतियों का सामना करने का इसके पास कोई विजन नहीं है. हमारा देश संस्कृति-बहुल और भाषा-बहुल है. इस बहुरंगेपन को एक इंद्रधनुषी राष्ट्रीयता में विकसित करना, अपनी सांस्कृतिक जड़ों को मजबूत करते हुए एक वैश्विक चेतना सम्पन्न नागरिक…

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प्रेमचंद 140 – प्रेमचंद : भोलेपन की बादशाहत –अपूर्वानंद

आत्मा को उल्लास देना और सत्यदर्शी आँखों के लिए शिक्षा की सामग्री जुटाना, यह साहित्य का दायित्व है। सत्य की परिभाषा भी आसान नहीं। प्रेमचंद उसे सत्य नहीं मानते जो प्रेम और सुंदरता के भाव से ख़ाली हो।…प्रेमचंद के 140 साल पूरे होने पर  ‘अज्ञेय की ‘शरणार्थी’ संग्रह की कहानी ‘बदला’ याद है?’ ‘मंदिर और…

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गैर-द्विज बौद्धिक पूँजी’ से सहमी व्यवस्था के आईने में हैनी बाबू की गिरफ़्तारी

प्रमोद रंजन “2018 में जब केंद्रीय विश्वविद्यालयों में शिक्षकों की नियुक्ति के लिए आरक्षण रोस्टर में बदलाव कर दिया गया, जिससे दलित व अन्य पिछड़ा वर्ग की हजारों सीटें कम हो गईं तो उसके विरोध को व्यवस्थित करने में हैनी बाबू का बहुत बड़ा योगदान था। इन संघर्षों ने उन्हें आरक्षण संबंधी जटिल नियमों का…

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Dragon in the room:The media’s China ‘solution’

Sevanti Ninan   At a time when much of the world’s media is battling a financial crisis, one inscrutable benefactor looms large. The irony, of course, is that this is the country that created the current crisis by being the originating point for Covid-19. But since China is neither short of money nor ambition, it is…

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सरकार 23 सार्वजनिक कंपनियाँ बेचेगी, आप स्वागत नहीं करेंगे तो क्या करेंगे- रवीश कुमार

“मोदी सरकार की यही ख़ूबी है। उनकी समर्थक जनता हर फ़ैसला का समर्थन करती है। वरना 23 सरकारी कंपनियों के विनिवेश का फ़ैसला हंगामा मचा सकता था। अब ऐसी आशंका बीते दिनों की बात हो गई है। सरकार की दूसरी खूबी है कि अपने फ़ैसले वापस नहीं लेती है। सार्वजनिक क्षेत्र कंपनियों में भी मोदी…

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महाराष्ट्र के आंतरिक पलायन में सबसे अधिक मज़दूर मराठवाड़ा क्यों लौटे?

शिरीष खरे राज्य अंतर्गत रिवर्स माइग्रेशन के दौरान मुंबई से कहीं अधिक पुणे हुआ खाली। आंकड़े बता रहे हैं कि लॉकडाउन के दौरान राज्य के भीतर बड़े शहरों से मज़दूरों का पलायन देखें तो इनमें पुणे सबसे आगे रहा है। ये आंकड़े सामने आए हैं सावित्री बाई फुले विश्वविद्यालय, पुणे के सार्वजनिक नीति व लोकतांत्रिक…

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भगवान राम और राम मंदिरः विवादों की अंतहीन श्रंखला- राम पुनियानी

आगामी पांच अगस्त को उस स्थान पर राम मंदिर का निर्माण शुरू किया जाना है जहाँ एक समय बाबरी मस्जिद स्थित थी. इस बीच इस मुद्दे पर दो विवाद उठ खड़े हुए हैं. पहला यह कि कुछ बौद्ध संगठनों ने दावा किया है कि मंदिर के निर्माण के लिए ज़मीन का समतलीकरण किये जाने के…

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नामवरी जीवन और एकांत भरा अंतिम अरण्य- जीवेश प्रभाकर

नामवर सिंह के जन्मदिवस पर पूर्व प्रकाशित लेखः साहित्य अकादमी पुरस्कार, शलाका सम्मान (हिंदी अकादमी, दिल्ली), , शब्दसाधक शिखर सम्मान, महावीरप्रसाद द्विवेदी सम्माम आदिआदि कई सम्मानें के ऊपर हिन्दी साहित्य प्रमियों और पाठकों के दिलों में लगातार सम्मान पाना उनकी सबसे बड़ी उपलब्धि रही।आज उनके जन्मदिवस पर उन्हे याद करना प्रगतिशील आंदोलन के स्वर्णिम युग…

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राहुल की लोगों से अपील – एकजुट होकर लोकतंत्र की रक्षा में आवाज उठाएं

स्पीक अप फॉर डेमोक्रेसी में राहुल गांधी ने राजस्थान घटनाक्रम पर ध्यान केंद्रीत किया। उन्होंने आरोप लगाया कि धनबल के दम वहां कांग्रेस की सरकार को अस्थिर करने की कोशिश की जा रही है। दो दिन पहले राजस्थान मामले पर ट्वीट करते हुए उन्होंने भाजपा पर आरोप लगाए थे।  कांग्रेसे के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी…

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कश्मीरः यह किसका लहू है, कौन मरा?

अजय कुमार कश्मीर से अब कोई ख़बर नहीं आती। कश्मीर की जनता के दुख-दर्द, यातना व संघर्ष की ख़बर नहीं आती। ख़बर अगर आती भी है, तो ख़ून से सनी लाशों की। कश्मीर से अब कोई ख़बर नहीं आती। कश्मीर की जनता के दुख-दर्द, यातना व संघर्ष की ख़बर नहीं आती। ख़बर अगर आती भी…

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