विमर्श

मार्क्सवाद के साथ गांधी मार्ग का समन्वय समय की मांग है–जीवेश प्रभाकर

May 5, 2021

किसान आंदोलन की पूरे देश में हलचल है। किसान आंदोलन के चलते न सिर्फ किसान बल्कि एक बहुत बडा वर्ग उद्वेलित है जिसमें युवा वर्ग की भागेदारी एक नए बदलाव का संकेत दे रही है। विगत लगभग 6 माह से जारी यह आंदोलन एक नया इतिहास रच रहा है जिसके भीतर से उठती ध्वनियों में […]

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कौन संग खेलू होली….? – प्रभाकर चौबे

March 28, 2021

व्यंग्य में प्रभाकर चौबे एक सुपरिचित और प्रतिष्ठित नाम रहा है। देश के प्रतिष्ठित व्यंग्यकार, सुप्रसिद्ध साहित्यकार व संपादक रहे श्री प्रभाकर चौबे लगभग 6 दशकों तक अपनी लेखनी से लोकशिक्षण का कार्य करते रहे । लगभग 25 वर्षों तक देशबंधु समाचार पत्र में उनका नियमित व्यंग्य कॉलम “हंसते हैं रोते हैं ”प्रकाशित होता रहा।आज होली के अवसर […]

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हिन्दू मुस्लिम के बीच बनाई गई खाई का पुल बनता किसान आंदोलन – जीवेश चौबे

February 4, 2021

किसान नेता राकेश टिकैत की भावुक अपील का वृहत्तर पैमाने पर और विशेष रूप से पश्चिमी उत्तर प्रदेश में जबरदस्त असर हुआ । पश्चिमी यूपी के जाट समुदाय ने उनकी अपील को जाट समुदाय के स्वाभिमान से जोड़ते हुए टिकैत के समर्थन में रातों रात एकजुटता का प्रदर्शन किया उससे केन्द्र में सत्तारूढ़ भाजपा के […]

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अपना हिस्सा अपना हक, मांग रहा है मेहनतकश – जीवेश चौबे

January 5, 2021

हम मेहनतकश इस दुनिया से जब अपना हिस्सा मांगेगे इक बाग़ नहीं इक खेत नहीं हम सारी दुनिया मांगेंगे             ( फैज़) फैज़ साहब की नज़्म आजदिल्ली की सीमाओं पर साकार होती नज़र आ रही है। हाड़ कंपाती ठंड में लगभग डेढ़ माह से दिल्ली सीमा पर अपने अस्तित्व की लड़ाई लड़ रहे किसानों का मोर्चा […]

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माता कौशल्या हो या राम, जन्मभूमि का मसला प्रमाण से ज्यादा आस्था का होता है – जीवेश चौबे

December 19, 2020

भूपेश बघेल सरकार की दूसरी वर्षगांठ पर पूर्व मंत्री अजय चंद्राकर द्वारा माता कौशल्या की जन्मभूमि पर विवाद खड़ा करने की कोशिश छत्तीसगढ़ियों की आस्था पर प्रश्न चिन्ह है। ग़ौरतलब है कि सुप्रीम कोर्ट ने अयोध्या में राम जन्मभूमि पर दिए गए फैसले में साफ कहा कि जन्मभूमि करोड़ों लोगों की आस्था से जुड़ा मसला […]

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फ्रेडरिक एंगेल्स – व्ला. इ. लेनिन

November 28, 2020

 फ्रेडरिक एंगेल्स (जन्मतिथिः 28 नवम्बर, 1820) मज़दूर वर्ग और समस्त मानवता की मुक्ति की विचारधारा, वैज्ञानिक कम्युनिज़्म के सिद्धान्त को विकसित करने कार्ल मार्क्स के अनन्य सहयोगी और मित्र थे। आधुनिक सर्वहारा के महान शिक्षकों में कार्ल मार्क्स के बाद उनका ही नाम आता है। मार्क्स की मृत्यु के बाद एंगेल्स अंतिम साँस तक यूरोप […]

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गांधीः चमकाओ इतना कि पूरा देश, पूरी दुनिया इस चमक से भर जाए – प्रियंवद

October 2, 2020

मेरे पास गांधी की पीतल की एक प्रतिमा है। करीब सवा फिट ऊँची। बहुत पहले मेरे पिता पैंतीस रुपए में खरीद कर लाए थे। कहाँ से, यह मुझे याद नहीं। प्रतिमा तीन सीढ़ियों के ऊपर रखी है। गांधी का ‘बस्ट’ बना है। पीतल पर सारा काम है। गांधी के चादर की सलवटें, गले की झुर्रियाँ, […]

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लेनिन की किताब के उस मुड़े हुए पन्‍ने में अटकी देश की जवानी

September 28, 2020

संदीप राउज़ी प्रधानमंत्री नरेंद्र दामोदर दास मोदी ने बीते रविवार को अपने 69वें ‘मन की बात’ में शहीदे आज़म भगत सिंह की बहादुरी और साहस का ज़िक्र करते हुए कहा कि “क्या आज कोई कल्पना कर सकता है कि जिस अंग्रेज़ी राज में कभी सूरज नहीं डूबता था, वो 23 साल के नौजवान से भयभीत […]

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क्या सरकार अब सोशल मीडिया और न्यूज पोर्टलों का मुँह बंद करना चाहती है ? – जीवेश चौबे

September 22, 2020

हाल ही में सुप्रीम कोर्ट ने सुदर्शन न्यूज़ चैनल की मंशा व नीयत पर सवाल उठाते हुए पर ‘यूपीएससी जिहाद’ कार्यक्रम के प्रसारण पर अगली सुनवाई तक रोक लगा दी है। कोर्ट ने कहा है, ‘आप एक धर्म विशेष को टारगेट नहीं कर सकते किसी एक विशेष तरीक़े से।’ सुप्रीम कोर्ट में जारी सुनवाई के चलते […]

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“बटलर हिन्दी” – प्रभाकर चौबे

September 14, 2020

आज हिन्दी दिवस पर पढ़ें प्रभाकर चौबे का पूर्वप्रकाशित लेख ‘बटलर हिन्दी’…. आज हिन्दी भाषा के अखबार ‘बटलर हिन्दी’ लिखे जा रहे हैं और कहते हैं कि यही आज की भाषा है। लगता है मैनेजमेंट उन्हें जनता की भाषा भ्रष्ट करने के लिए ही रखती है। आज हिन्दी अखबार उठा लीजिए। आपको मजेदार ‘बटलर हिन्दी’ […]

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